माँ की याद – गिरिधर राय, कोलकाता जाने क्यूँमाँ की याद आज फिर आयी ?और...
गिरिधर राय
अशोक वाटिका टिफिन के बाद पांचवें पीरियड मेंघुसते ही प्रश्न किया हिंदी के टीचर...
बँटवारा – गिरिधर राय, कोलकाता पश्चिम की नकल ने माँ-बाप को दर किनार कर बीवी-बच्चों को ही खास...
राणा की हल्दीघाटी गिरिधर राय, कोलकाता लिखने चली लेखनी अपनी कथा अमर बलिदानी की।...
हिंदी कविता योग सदा किया करो सुबह-सुबह तुम उठा करो, आलस कभी न किया...