प्रार्थना

दे रहे हैं आपको हम, दिल हृदय शुभ कामना।
हर दिवस अद्भुत सदा हो, है प्रभू से प्रार्थना।।

जिन्दगी की राह में ना, कष्ट हो कोई कभी।
आ गये यदि रोध कोई, नष्ट हो जायें सभी।।
जिन्दगी खिलती रहे वो, हो चमन से सामना।
हर दिवस अद्भुत सदा हो, है प्रभू से प्रार्थना।।

हर समय बजती रहें वे, दुंदुभी जय घोष की।
मान की सम्मान की हो, जय जयति उद्घोष की।।
प्रति समय उगती सदा हो, वह प्रगति की लालिमा।
हर दिवस अद्भुत सदा हो, है प्रभू से प्रार्थना।।

श्री बढ़े बढ़ती रहे नित, कीर्ति चारों ओर हो।
यश सुयश फैले चतुर्दिक, आन का अभिमान हो।
हो समर्पण लक्ष्य के प्रति, पूर्ण हो प्रति साधना।
हर दिवस अद्भुत सदा हो, है प्रभू से प्रार्थना।।

आज फिर से सब दिलों में, प्रेम का उल्लास हो।
सप्त रंगों की खिले नित, इन्द्रधनुषी आस हो।
बाज बजते हों मधुर हों, धुन सुखद हो आँगना।
हर दिवस अद्भुत सदा हो, है प्रभू से प्रार्थना।।

राकेश शंकर त्रिपाठी, कानपुर

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